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उन्नत केमिस्ट्री सेल (एसीसी) बैटरी और घरेलू क्षमता

प्रविष्टि तिथि: 12 DEC 2025 4:08PM by PIB Delhi

भारी उद्योग मंत्रालय उत्पादन से जुड़ी प्रोत्साहन (पीएलआई) योजना के अंतर्गत,  ‘उन्नत रसायन सेल (एसीसी) बैटरी भंडारण पर राष्ट्रीय कार्यक्रम’, का संचालन कर रहा है। यह योजना मई 2021 में 18,100 करोड़ रुपये के कुल परिव्यय के साथ 50 गीगा वाट घंटा की घरेलू उन्नत रसायन सेल विनिर्माण क्षमता स्थापित करने के लिए अनुमोदित  की गई थी। भारी उद्योग राज्यमंत्री श्री भूपतिराजू श्रीनिवास वर्मा ने आज राज्यसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में यह जानकारी दी।

कुल 40 गीगा वाट घंटा की क्षमता चार लाभार्थी फर्मों को आवंटित की गई है। आज तक, पीएलआई एसीसी योजना के तहत किसी भी लाभार्थी फर्म ने कोई प्रोत्साहन राशि का दावा नहीं किया है। आवंटित क्षमता और स्थापित वास्तविक क्षमता का लाभार्थी-वार विवरण इस प्रकार है।

क्रम संख्यापीएलआई एसीसी योजना के तहत लाभार्थी फर्मआवंटित क्षमता

(गीगा वाट घंटा में)

स्थापित क्षमता

(गीगा वाट घंटा में)

1.एसीसी एनर्जी स्टोरेज प्राइवेट लिमिटेड50
2.ओला सेल टेक्नोलॉजीज प्राइवेट लिमिटेड201
3.रिलायंस न्यू एनर्जी बैटरी स्टोरेज लिमिटेड50
4.रिलायंस न्यू एनर्जी बैटरी लिमिटेड100
 कुल401

 

आयातित बैटरियों के साथ प्रतिस्पर्धा करने में घरेलू निर्माताओं को निम्नलिखित चुनौतियों का सामना करना पड़ता है:

  1. तकनीक की अनुपलब्धता
  2. कुशल मानव शक्ति की कमी
  3. महत्वपूर्ण उपकरण और मशीनरी का आयात
  4. अपस्ट्रीम घटकों की अनुपलब्धता

खान मंत्रालय से मिली जानकारी के अनुसार,खान मंत्रालय ने कई कदम उठाए हैं, जिनमें ये शामिल हैं:

  1. केंद्रीय मंत्रिमंडल ने 29 जनवरी, 2025 को राष्ट्रीय महत्वपूर्ण खनिज मिशन की स्थापना को मंजूरी दी, जिसके लिए वित्तीय वर्ष 2024-25 से 2030-31 तक 16,300 करोड़ रुपये का वित्तीय परिव्यय निर्धारित किया गया है। राष्ट्रीय महत्वपूर्ण खनिज मिशन का उद्देश्य भारत की महत्वपूर्ण खनिज आपूर्ति श्रृंखला को सुरक्षित करना और मूल्य श्रृंखला के सभी चरणों को मजबूत करना है, जिनमें खनिज अन्वेषण, खनन, लाभकारीकरण, प्रसंस्करण और उपयोग समाप्ति वाले उत्पादों से पुनर्प्राप्ति शामिल हैं।
  2. भारतीय भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण ने महत्वपूर्ण और रणनीतिक खनिजों के अन्वेषण को तेज कर दिया है। भारतीय भूवैज्ञानिक सर्वेक्षण ने देश भर में 2024–25 के दौरान 195 महत्वपूर्ण खनिज अन्वेषण परियोजनाएं और 2025–26 के दौरान 230 परियोजनाएं संचालित कीं। इसके अतिरिक्त, राष्ट्रीय खनिज अन्वेषण और विकास ट्रस्ट  ने महत्वपूर्ण खनिजों के अन्वेषण के लिए 2024-25 के दौरान 62 परियोजनाएं और 2025-26 के दौरान 36 परियोजनाओं को मंजूरी दी है।
  3. महत्वपूर्ण खनिज अन्वेषण और विदेशों में खनन को समर्थन देने के लिए राष्ट्रीय खनिज अन्वेषण और विकास ट्रस्ट के दायरे का विस्तार करने हेतु खान और खनिज (विकास और विनियमन) अधिनियम, 1957 में संशोधन किया गया।
  4. खान मंत्रालय  ने महत्वपूर्ण खनिजों के 34 ब्लॉकों की सफलतापूर्वक नीलामी की है।
  5. खान मंत्रालय ने अन्वेषण लाइसेंस  के 7 ब्लॉकों की सफलतापूर्वक नीलामी की है, जिनमें से तीन ब्लॉक महत्वपूर्ण खनिजों से संबंधित हैं।
  6. केंद्रीय मंत्रिमंडल ने द्वितीयक स्रोतों से महत्वपूर्ण खनिजों के पृथक्करण और उत्पादन के लिए पुनर्चक्रण क्षमता विकसित करने के लिए 1,500 करोड़ रुपये की प्रोत्साहन योजना को मंजूरी दी। इस योजना के दिशा-निर्देश खान मंत्रालय द्वारा 02अक्टूबर 2025 को जारी किए गए थे और योजना को लागू कर दिया गया है।
  7. खनिज बिदेश इंडिया लिमिटेड ने अन्वेषण और विकास के लिए अर्जेंटीना के कैटामारका प्रांत में लिथियम ब्राइन के पाँच ब्लॉक अधिग्रहित किए हैं।

पीएलआई एसीसी योजना किसी विशेष तकनीक तक सीमित नहीं है, यह सुनिश्चित करती है कि बेहतर प्रौद्योगिकियों को अधिक प्रोत्साहन मिले। इस योजना को पर्याप्त निवेश आकर्षित करने, अनुसंधान और विकास  को बढ़ावा देने और एसीसी के लिए आयात पर निर्भरता कम करने के उद्देश्य से डिज़ाइन किया गया है। इसके अलावा, योजना के तहत, लाभार्थी फर्मों द्वारा अनुसंधान और विकास पर किए गए व्यय को निवेश मानदंड पूरा करने की अनुमति है, जिससे वे अपनी परियोजनाओं के कार्यान्वयन में नवीनतम तकनीक को एकीकृत कर सकें।

 

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