8 अक्टूबर 2025 को नवयुग कन्या महाविद्यालय , राजेंद्र नगर, लखनऊ के समाजशास्त्र विभाग द्वारा “सोशल मीडिया एंड यूथ आइडेंटिटी : ए सोशियोलॉजिकल एक्सप्लोरेशन” विषय पर एक दिवसीय सिंपोजियम का आयोजन किया गया। इस कार्यक्रम का उद्देश्य तेजी से बदलते डिजिटल युग में सोशल मीडिया और युवा पहचान के निर्माण के बीच जटिल संबंधों का अध्ययन करना था।
कार्यक्रम की शुरुआत ज्ञान और प्रकाश का प्रतीक मानते हुए दीप प्रज्वलन से हुई, इसके बाद गणमान्य व्यक्तियों का सम्मान किया गया। समाजशास्त्र विभाग की अध्यक्ष डॉ. विनिता सिंह ने संगोष्ठी के विषय का परिचय देते हुए बताया कि कैसे सोशल मीडिया युवाओं के जीवन का अभिन्न हिस्सा बन गया है, जो उनकी आत्मधारणा, संचार और सामाजिक व्यवहार को प्रभावित करता है।
प्रो. विनोद चंद्र, प्रधानाचार्य, जे एन एम पी जी कॉलेज, लखनऊ ने डिजिटल मीडिया के समाजशास्त्रीय पहलुओं पर विचारोत्तेजक भाषण दिया। उन्होंने बताया कि ऑनलाइन प्लेटफ़ॉर्म युवा व्यक्तियों के लिए सशक्तिकरण के उपकरण होने के साथ-साथ मानसिक और सामाजिक चुनौतियों का स्रोत भी हैं। प्रतिष्ठित समाजशास्त्री प्रो. राजेश मिश्रा, पूर्व अध्यक्ष, समाजशास्त्र विभाग, लखनऊ विश्वविद्यालय ने समाज में डिजिटल परिवर्तन पर अपने विश्लेषणात्मक विचार साझा किए और जिम्मेदार डिजिटल नागरिकता व महत्वपूर्ण मीडिया साक्षरता की आवश्यकता पर जोर दिया।
संगोष्ठी में युवाओं के अनुभव साझा करने वाले सत्र “युवा वार्ता” का आयोजन भी हुआ, जिसमें सुश्री अंजलि जयसवाल, सुश्री अमीषा द्विवेदी और सुश्री गुरिंदर कौर ने सोशल मीडिया के माध्यम से युवाओं की व्यक्तिगतता, पहचान और आत्म-अभिव्यक्ति पर अपने दृष्टिकोण प्रस्तुत किए। इसके अलावा, “इंपैक्ट ऑफ ए आई ऑन सोसाइटी: ए आई फॉर सोशल गुड ” विषय पर आयोजित भाषण प्रतियोगिता के विजेताओं को पुरस्कार वितरण समारोह में सम्मानित किया गया। छात्रों को उनके नवोन्मेषी और सामाजिक दृष्टि से महत्वपूर्ण विचारों के लिए पुरस्कृत किया गया।
अपने अध्यक्षीय संबोधन में, प्रो. मंजुला उपाध्याय, प्राचार्य, नवयुग कन्या महाविद्यालय ने समाजशास्त्र विभाग की इस बौद्धिक रूप से समृद्ध और सामाजिक रूप से प्रासंगिक पहल की सराहना की। उन्होंने छात्रों को यह सुझाव दिया कि सोशल मीडिया का उपयोग रचनात्मक संवाद, सृजनात्मकता और जागरूकता के लिए करें, न कि केवल समय व्यर्थ करने के लिए।
संगोष्ठी में वरिष्ठ फैकल्टी सदस्यों की गरिमामय उपस्थिति रही — प्रो. नीतू सिंह, डॉ. गीताली रस्तोगी, प्रो. रीता तिवारी, प्रो. सुषमा त्रिवेदी, प्रो. आभा पाल और प्रो. अंबिका बाजपेयी, जिनके मार्गदर्शन और प्रोत्साहन ने कार्यक्रम के शैक्षणिक वातावरण को और समृद्ध किया। यह कार्यक्रम आयोजन समिति — डॉ. विनिता सिंह, डॉ. आभा दुबे, डॉ. नेहा यादव और डॉ. अपर्णा राय के कुशल नेतृत्व और मेहनत से सफलतापूर्वक संपन्न हुआ।
कार्यक्रम का समापन धन्यवाद ज्ञापन के साथ हुआ, जिसमें सभी गणमान्य व्यक्तियों, फैकल्टी सदस्यों और प्रतिभागियों का हार्दिक आभार व्यक्त किया गया। यह संगोष्ठी मीडिया और तकनीक के समाजशास्त्रीय पहलुओं पर विचार-विमर्श और संवाद के लिए एक सार्थक मंच प्रदान करने में सफल रही और युवा मस्तिष्कों को डिजिटल युग में जिम्मेदारी और समझदारी से जुड़ने के लिए प्रेरित किया।